गर्भावस्था के दौरान स्मार्टफोन, वाईफाई राउटर और माइक्रोवेव जैसे उपकरणों के गैर-आयनीकृत विकिरण यानी रेडिएशन के संपर्क में आने से गर्भपात का खतरा बहुत अधिक बढ़ जाता है। विद्युत उपकरणों के इस्तेमाल और विद्युत के प्रवाह के दौरान चुंबकीय क्षेत्र से गैर-आयनीकृत विकिरण निकलते हैं। इसे विद्युत उपकरणों, पावरलाइन और ट्रांसफॉर्मर सहित वायरलेस उपकरण और वायरलेस नेटवर्क सहित कई स्रोतों से पैदा किया जा सकता है। इन उपकरणों को इस्तेमाल करने के दौरान इंसान, चुंबकीय क्षेत्र के संपर्क में आता है। आयनीकृत विकिरण के स्वास्थ्य पर पडऩे वाले दुष्प्रभाव पहले ही साबित हो चुके हैं। इसकी वजह से कैंसर और अनुवांशिक बीमारियां होने का खतरा बढ़ जाता है। लेकिन गैर-आयनीकृत विकिरण से इंसानों के स्वास्थ्य पर पडऩे वाले दुष्प्रभाव के साक्ष्य सीमित थे। अमेरिका में कैंसर परमानेंट डिवीजन ऑफ रिसर्च के डि-कुन ली ने बताया, कुछ अध्ययन चुंबकीय क्षेत्र में गैर-आयनीकृत विकिरण के संपर्क को सटीक तरीके से मापने में सफल रहे हैं। अनुसंधानकर्ताओं ने 18 साल से अधिक आयु की गर्भवती महिलाओं को छोटे आकार का निगरानी उपकरण 24 घंटे पहनने की सलाह दी है। यह उपकरण चुंबकीय क्षेत्र की माप करता है।