बिना हनुमान जल गई लंका
admin
07/14/2022
BREAKING NEWS, International
2,797 Views
नेशनल वार्ता ब्यूरो
अब की बार लंका को हनुमान जी ने नहीं जलाया। इस बार लंका को जलाने वाले लंका के नेता हैं। ये नेता भ्रष्टाचारवादी होने के साथ-साथ परिवारवादी भी हैं। इसके अलावा भारत जैसे देश की अनदेखी कर चीन जैसे राक्षस देश पर भरोसा करना भी लंका के लिए आग साबित हुआ। अब तो बहुत देर हो चुकी है। जिस भारत पर लंका के भ्रष्ट नेताओं ने भरोसा नहीं किया वही भारत लंका का हमदर्द बना हुआ है। वही भारत लंका की तरह-तरह से मदद कर रहा है। प्रधानमंत्री मोदी अपनी ओर से श्रीलंका के दुःख को कम करने की कोशिश कर रहे हैं। जिस चीन पर लंका के राजनेता आँख बंद कर भरोसा करते थे वह चीन अब लंका की ओर पीठ करके खड़ा है। विपत्ति में भारत ही काम आ रहा है। लेकिन भारत को एक बात ध्यान रखनी चाहिए कि लंका के लोग भारत में शरण लेने ना आएं। भारत में जनसंख्या विस्फोट चल रहा है। भारत को अपने सभी शरणार्थी द्वार बंद करने पड़ेंगे। साथ में भारत को ज्यादा से ज्यादा दो बच्चों की नीति पर काम करना पड़ेगा। श्रीलंका में भुखमरी चल रही है। लोगों को खाना पीना उपलब्ध कराना अच्छी बात है। लेकिन शरण देना अब भारत के लिए नामुमकिन होना चाहिए। कुछ महीने बाद श्रीलंका जैसा हाल पाकिस्तान का भी होने वाला है। भारत को सावधान रहना पड़ेगा। जिहादियों को किसी भी कीमत पर शरण नहीं देनी होगी। वहाँ के हिन्दू अगर भविष्य मंे शरण लेने आएं तो उनका ध्यान रखा जाना चाहिए। नागरिकता कानून को और बेहतर बनाया जाना चाहिए ताकि पीड़ित हिन्दू भारत में आकर यहाँ का नागरिक बन सके। हिन्दू का हक है भारत मंे आना। पाकिस्तान में हिन्दुओं पर अत्याचार चरम पर है। यहाँ भारत में भी हिन्दुओं पर अत्याचार हो रहा है। भारत के नेताओं को नए सिरे से सोचना होगा। लेकिन वोट की हवश के चलते ऐसा संभव नहीं लगता। भारत में पन्द्रह साल तक मतदान पर रोक लग जानी चाहिए। तभी जाकर कोई देश भक्त सरकार बड़े-बड़े दूरगामी फैसले ले सकेगी। शरण केवल दूसरे देशों में सताए जा रहे हिन्दुओं को ही मिलनी चाहिए क्योंकि पूरे संसार में एक ही हिन्दू राष्ट्र है जिस पर हिन्दू भरोसा कर सकता है।
read also……