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निरंकारी आश्रम हत्याकांड: डम्पर चालक से दुर्घटनावश हुई थी हत्या

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अर्जुन सिंह भण्डारी
(क्राइम ब्योरो चीफ -उत्तराखण्ड)

देहरादून । चार दिन की कड़ी मेहनत और सबूतों व साक्ष्यो के आधार पर देहरादून पुलिस की संयुक्त टीम ने हरिद्वार बाईपास रोड स्थित निरंकारी भवन में गत बृहस्पति को हुए दोहरे हत्याकांड में दो अभियुक्तों को गिरफ्तार कर लिया जिन्होंने इक़बाल-ए-जुर्म कर लिया है। हत्यारोपी व दूसरा अभियुक्त दोनों ही निरंकारी सत्संग भवन में भवन निर्माण हेतु डम्पर द्वारा मिट्टी भरन का काम करते थे। बीते बृहस्पति को नेहरू कॉलोनी थाने को सिटी कंट्रोल से सूचना प्राप्त हुई कि हरिद्वार बाईपास रोड स्थित निरंकारी भवन ग्राउंड में दो व्यक्तियों के शव मिले है। सूचना मिलने पर प्रभारी निरीक्षक राजेश शाह मय फ़ोर्स के साथ घटना स्थल पर पहुँचे। वारदात स्थल पर पहुँची पुलिस ने देखा कि वारदात स्थल पर मिट्टी भरान का कार्य चल रहा है तथा उसी के समीप दो व्यक्तियों के शव पड़े थे। वारदात पर मौजूद लोगों से पूछताछ में पुलिस को पता चला कि मृत व्यक्ति में से एक सोनू (24) पुत्र श्री जयवीर निवासी सेवला कलां थाना पटेल नगर देहरादून जो कि भवन में सेवादार के रूप में कार्य करता था तथा दूसरे मृत व्यक्ति की पहचान कमलराम (46)पुत्र श्री गबरू मिस्त्री निवासी ग्राम गोती तहसील जखोली, रूद्रप्रयाग ,निरंकारी भवन के सिक्योरिटी गार्ड के रूप में हुई थी। शव की जाँच करने पर पुलिस को दोनों के शरीर पर खुली व गुम चोटों के निशान दिखे थे। इस घटना से शहर भर की पुलिस तुरंत हरकत में आ गयी और घटना की संवेदनशीलता को देखते हुए पुलिस उप महानिरीक्षक, गढवाल परिक्षेत्र देहरादून , वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, देहरादून सहित जिले के अन्य पुलिस अधिकारियों ने मामले को तुरंत संज्ञान में लेते हुए घटना स्थल का मुआयना किया। पुलिस अधिकारियों द्वारा काफी गहनता से घटना स्थल का निरीक्षण किया गया था तथा सबूतों को फोरेंसिक एक्सपर्ट टीम की मदद से घटनास्थल से उठाया भी गया था। घटना को जल्द से जल्द सुलझाने के निर्देश पर थाना नेहरूकालोनी, थाना पटेलनगर , थाना क्लेमनटाउन एवं एसओजी की सयुंक्त टीमें गठित की गयी थी। जिसके चलते उक्त टीमों द्वारा काफी अथक प्रयासों से घटना स्थल के आसपास मौजूद व्यक्तियों से पूछताछ, घटना स्थल पर निर्माण कर रहे व्यक्तियों एंव घटना स्थल के आस पास स्थित सीसीटीवी कैमरों की रिकार्डिंग, एंव घटना स्थल मिट्टी भरान का कार्य कर रहे डम्परों के चालक / मालिकों व जेसीबी के चालक / मालिको से कड़ी पूछताछ की गयी। घटना के दो दिन बीत जाने के बाद भी कोई सबूत हाथ न लगने पर पुलिस ने घटना स्थल की गहराई को जांचते हुए निरंकारी भवन के अन्दर मिट्टी डालने का कार्य कर रहें कुछ डम्पर चालकों पर शक जताया। जिसके बाद वहां मौजूद डम्पर चालकों से पूछताछ की गयी एंव बार – बार घटना से सम्बन्धित संदिग्ध व्यक्तियों को घटना स्थल पर ले जाकर घटनाक्रम की काल्पनिक पुनरावृति करायी गयी, तो घटना स्थल पर मिट्टी भरान का कार्य कर रहे डम्पर सं यू0ए0 – 07R 8546 के चालक देवेन्द्र कुमार सैनी पुत्र श्री भीम सिंह सैनी निवासी ग्राम खानपुर मानक , थाना नगीना , बिजनौर , यू0पी0, हाल निवासी बंजारावाला थाना पटेलनगर देहरादून, को परिस्थितजन्य साक्ष्य के आधार पर हिरासत में ले लिया जिसने बाद में डम्पर द्वारा उनकी हत्या की बात कबूल कर ली। पुलिस के अनुसार अभियुक्त देवेन्द्र से पहले डम्पर चालक पारस भवन में मिट्टी डालने गया था जिसकी एंट्री मृतक सोनू ने रजिस्टर में दर्शायी है। सोनू की कॉल डिटेल के अनुसार उसने आखिरी बार अपने मित्र से रात के 8:49 बजे फ़ोन पर बात करी थी जिसका मतलब सोनू की मृत्यु पारस के बाद आये हुए डम्पर से हुई है। पुलिस ने जब देवेन्द्र से सख्ताई से पूछताछ करी तो उसने सब उगल दिया । उसने बताया कि वह गोविन्द प्रसाद डंगवाल पुत्र स्व0 श्री चण्डीप्रसाद डंगवाल निवासी 227 टी स्टेट बजारावाला पटेलनगर के डम्पर चलाता है, जिनका निरंकारी भवन हरिद्वार बाईपास रोड व एनएच में मिट्टी भरान का कार्य चल रहा । घटना वाली रात वह लगभग 9:20 पर आशारोडी से डम्पर में मिट्टी लेकर निरंकारी भवन गया। वह जैसे ही निरंकारी भवन के मेन गेट में घुसा तो वहाँ मौजूद मृतक चौकीदार कमलराम द्वारा उससे दूर से टार्च दिखाकर मिट्टी खाली करने का स्थान दिखाया। जैसे ही वह डम्पर लेकर टार्च से इशारा करने वाले व्यक्ति के पास पहुंचा तो उसने डम्पर को मोडना चाहा, पर अत्यधिक कोहरा एवं गति होने के कारण टार्च वाला व्यक्ति उसके अगले टायर की चपेट में आ गया। जिसका पता उससे तब चला जब वह व्यक्ति चिल्लाया। जिसके बाद वह घबरा गया और डम्पर को जैसे ही पीछे किया तो एक अन्य व्यक्ति जो पहले से वहाँ मौजूद था, उसके डम्पर के कंडक्टर साइड वाले दरवाजे पर लटक कर डम्पर रोकने के लिये कहने लगा, पर वह घबरा गया था जिससे उसने हडबडाहट में डम्पर को भगा दिया। जिससे दूसरा व्यक्ति झटके से छिटक कर गिर गया और वह भी डम्पर के टायर की चपेट में आ गया। उसके अनुसार वह घबराया हुआ था जिस कारण वह वहा से डम्पर लेकर भाग गया। निरंकारी भवन से बाहर आकर यह बात उसने जब यह बात अपने मलिक गोविन्द प्रसाद डंगवाल को फोन पर बतायी कि भवन में जहा मिट्टी भरान का कार्य चल रहा है, वहां दो व्यक्ति पडे हैं, लगता है किसी ने उनका एक्सीडेंट कर दिया है। इस पर मलिक ने उससे कहा कि डम्पर को एनएच पर खाली कर दो और काम बंद कर दो। तब वह वहा से भाग कर एनएच पर डम्पर खाली कर मालिक के आशारोडी स्थित आफिस पर गया और वही सो गया। पुलिस द्वारा उसको घटना स्थल पर ले जाया गया जहाँ घटना स्थल को रिक्रीएट किया गया जिसके आधार पर अभियुक्त ने पुनः घटना को घटित अंदाज़ में दोहराया। पुलिस द्वारा उसके बताये संस्तुति को साक्ष्यो के आधार पर पुलिस ने देवेन्द्र को सेवादार व चौकीदार का हत्यारोपी मानते हुए गैर इरादतन धारा 304 के तहत हत्या का मुकदमा दर्ज कर लिया है व घटना में प्रयुक्त डम्पर को भी कब्जे में ले लिए है। पुलिस की संयुक्त टीम द्वारा घटना को 72 घंटे के अन्दर सुलझाने में मिली सफलता के लिए सभी अधिकारियों ने सभी पुलिस कर्मियों की कार्यशैली की प्रशंसा की है व आम जनता ने इस कार्य के लिए पुलिस को सराहा है।


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